इसरो एवं डीआरडीओ से मान्यता प्राप्त डॉ एपीजे अब्दुल कलाम सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल मिशन में दंतेवाड़ा के छात्रों ने बनाए विश्व कीर्तिमान

इसरो एवं डीआरडीओ से मान्यता प्राप्त डॉ एपीजे अब्दुल कलाम सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल मिशन में दंतेवाड़ा के छात्रों ने बनाए विश्व कीर्तिमान

• पट्टीपुलम तमिलनाडु में भारत का पहला हाइब्रिड रॉकेट एपीजेएकेएसएलवीएम लाइव लॉन्चिंग में दंतेवाड़ा छत्तीसगढ़ से 11 सहभागी शामिल हुए

• अब दंतेवाड़ा बना विश्व का पहला जिला जहां से कुल 75 बच्चें निःशुल्क रूप से मिशन में जुड़ कर विश्व कीर्तिमान स्थापित किया

गीदम/दंतेवाड़ा(अमर छत्तीसगढ़) :-
डाॅ एपीजे अब्दुल कलाम सैटेलाइट लाॅन्च मिशन 2023 के तहत 150 पीको उपग्रहों एक साथ भारत का पहला हाइब्रिड रॉकेट प्रक्षेपण तमिलनाडु राज्य के चेन्नई के पास स्थित चेंगलपेट जिले के ग्राम पट्टीपुलम में सफलता पूर्वक संपन्न हुआ। डॉ एपीजे अब्दुल कलाम इंटरनेशनल फाउंडेशन के द्वारा तकनीकी सहयोगी स्पेस जोन इंडिया एवं प्रायोजक मार्टिन ग्रुप के सहयोग से 18 फरवरी को सैटेलाइट व रॉकेट्री इंटीग्रेशन पर कार्यशाला एवं 19 फरवरी को रॉकेट लॉन्च कार्यक्रम आयोजित किया गया।

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन इसरो एवं रक्षा अनुसंधान व विकास संगठन डीआरडीओ, भारत सरकार द्वारा यह मिशन को मान्यता प्राप्त हुआ। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि महामहिम तेलंगाना के राज्यपाल तथा पुडुचेरी के उपराज्यपाल डाॅ तमिलसाई सौन्दराराजन ने रॉकेट लॉन्च में शामिल हुए विद्यार्थी एवं शिक्षकों को प्रेरणा देते हुए कहा कि अंतरिक्ष के क्षेत्र में भारत को विश्वगुरु बनाने में युवा वैज्ञानिक का अहम भूमिका रहेगा। विशिष्ट अतिथि के रूप में डॉ एपीजे अब्दुल कलाम सर के पोता भतीजा डॉ एपीजेएमजे शेख दाऊद एवं डॉ एपीजेएमजे शेख सलीम, डॉ एपीजेएमजे नज़ेमा मरैकयार कलाम सर के भांजी, स्पेस जोन इंडिया सीईओ तथा मिशन डायरेक्टर डॉ आनंद मेगालिंगम, मार्टिन ग्रुप संस्था के डॉ लीमा रोज मार्टिन एवं एमडी डॉ जोस चार्ल्स मार्टिन, इंदिरा गांधी सेंटर फॉर एटॉमिक एनर्जी कलपक्कम के डायरेक्टर डॉ बी वेंकटरमन, इसरो के पूर्व निदेशक व लघु उपग्रहों के प्रमुख पद्मश्री डॉ मुलस्वामी अन्नादुराई, इसरो के वैज्ञानिक गोकुल देवेंद्रन, प्रमुख वैज्ञानिक डॉ सुल्तान अहमद इस्माइल, आईजेन डायरेक्टर डॉ एल रमेश ने शामिल हुए, उन्होंने बताया कि डॉ एपीजे अब्दुल कलाम का विजन पूरा करने में सब का सहभागिता आवश्यक है।

लाइव रॉकेट लॉन्चिंग कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ राज्य से केवल दंतेवाड़ा जिले के आस्था विद्या मंदिर इंग्लिश मीडियम स्कूल जावंगा गीदम के व्याख्याता अमुजुरी विश्वनाथ के साथ छात्र अमित नाग, राहुल मरकाम, प्रिंस सोरी, पप्पू भारद्वाज, सहदेव वट्टी, सविनलाल मरकाम एवं सेजेस हिन्दी माध्यम दंतेवाड़ा के व्याख्यता टी विजयलक्ष्मी के साथ नीरज मरकाम, देबांश मंडल एवं नेहा ठाकुर सम्मिलित हुए। भारत के 75वी आजादी का अमृत महोत्सव के अवसर पर इस मिशन में छत्तीसगढ़ से 65 विद्यार्थी एवं ओडिशा के 10 विद्यार्थी, कुल 75 विद्यार्थी शामिल हैं, जिसका केंद्र दंतेवाड़ा बना।

छत्तीसगढ़ व ओडिशा राज्य समन्वयक अमुजुरी विश्वनाथ बताया कि छत्तीसगढ़ के अति संवेदनशील एवं आंतरिक क्षेत्र जिला दंतेवाड़ा अब विश्व का पहला जिला जहां से कुल 75 बच्चें निःशुल्क रूप से मिशन से जुड़े और विश्व कीर्तिमान स्थापित करने में सफल बने। भारत के पहली हाइब्रिड रॉकेट ने 150 पीको सैटेलाइट को एक साथ लॉन्च किया गया, जो की 100 प्रतिशत सफल हुआ। इस सैटेलाइट को अंतरिक्ष में ले जाने वाला रॉकेट 3 मीटर लंबाई व 65 किलो वजन है एवं सेटेलाइट हवा की गुणवत्ता, ओजोन स्तर की प्रकृति, तापमान एवं कार्बन की आंखडे जानकारी मिलेगी। नया “विश्व कीर्तिमान” वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, एसिस्ट बुक ऑफ रिकॉर्ड्स एवं आईडिवाईएम बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हुआ है। दंतेवाड़ा के टीम भारत का तिरंगा झंडा को लहरा कर प्रगतिशील देश का संदेश दिया। विज्ञान, प्रदौगिकी एवं शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य हेतु अमुजुरी विश्वनाथ को महामहिम राज्यपाल डॉ तमिलसाई सौन्दराराजन, एपीएमजे शेख सलीम, एपीएमजे शेख दावूद ने प्रमाणपत्र एवं मोमेंटो दे कर सम्मान किया।

एकेआईएफ जनरल सेक्रेटरी मिलिंद चौधरी, राष्ट्रीय समन्वय एम सुरेश ने यह जानकारी दी कि देश के विभिन्न राज्यों से 5000 से अधिक विद्यार्थी, शिक्षक शिक्षिका एवं पालक इस परियोजना का हिस्सा बने। कार्यशाला में वैज्ञानिकों द्वारा विद्यार्थियों व शिक्षकों को सैटेलाइट विकसित एवं समंजित करने का प्रशिक्षण दिया गया। कक्षा 6वीं से 12वीं तक बच्चों को 150 पीको उपग्रहों को डिजाइन एवं विकसित करने में सक्षम बनाया गया, जिन्हें रीयूजेबल साउंडिंग राॅकेट के माध्यम से प्रक्षेपित किया गया। विद्यालयों व महाविद्यालयों के विद्यार्थियों को विज्ञान, प्रौद्योगिकी, गणित, अंतरिक्ष विज्ञान में प्रशिक्षित कर उन्हें करियर बनाने एवं रोजगार प्रदान करना इस परियोजना का उद्देश्य है। इससे पूर्व बच्चों को स्पेस साइंस से संबंधित दस दिवसीय ऑनलाइन प्रशिक्षण टेक्निकल एक्सपर्ट मोहित चौधरी द्वारा दिया गया।

दंतेवाड़ा के जावंगा एजुकेशन सिटी स्थित ऑडिटोरियम में कार्यशाला आयोजित किया गया, जिसमें मिलिंद चौधरी जनरल सेक्रेटरी एकेआईएफ, मनीषा ताई चौधरी एवं आदित्य चौधरी ने मार्गदर्शन एवं प्रशिक्षण प्रदान किया। इस गर्व की उपलब्धि पर जिला दंतेवाड़ा कलेक्टर विनीत नंदनवार, जिला शिक्षा अधिकारी प्रमोद ठाकुर, जिला मिशन समन्वयक श्यामलाल शोरी, दंतेवाड़ा बीईओ डीएस ध्रुव, गीदम बीईओ शेख रफिक, आस्था विद्या मंदिर प्राचार्य गोपाल पांडे, सेजेज हिंदी दंतेवाड़ा प्राचार्य एलबी यादव, बीबी चक्रवर्ती एवं सर्व संकुल समन्वयक, अधीक्षक रविप्रकाश ठाकुर, विद्यालयों के समस्त शिक्षक शिक्षिका ने शुभकामनाएं व बधाई प्रेषित किया।

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