आत्मकल्याण वर्षावास 2024
रायपुर(अमर छत्तीसगढ) 29 अगस्त। न्यू राजेंद्र नगर स्थित वर्धमान जैन मंदिर के मेघ-सीता भवन में गुरूवार को दादा गुरूदेव की इकतीसा शुरू हुई। मंदिर में सुबह गाजे-बाजे के साथ दादा गुरूदेव की प्रतिमा, अखंड दीपक और कलश की स्थापना की गई। पूज्य पंन्यास श्रमणतिलक विजय जी आदि ठाणा की पावन निश्रा में मंत्रोच्चार के साथ लाभार्थी परिवारों ने गुरूदेव की प्रतिमा, अखंड दीपक और चांदी के कलश की स्थापना की और तोरण बांधा।
वर्धमान जैन मंदिर में आज दादा गुरूदेव का इकतीसा जाप शुरू हो चुका है जो 8 सितंबर चक चलेगा। मंगलमय प्रतिमा जी की स्थापना का सुअवसर श्री जसराज जी पुष्पा देवी ललित जी बेगानी परिवार

मंगलमय कलश की स्थापना का सुअवसर श्री शांति लाल जी पींचा परिवार
अखंड दीपक प्रज्वलित करने का सुअवसर श्रीमति कमला जी पुखराज जी अनिल जी संध्या जी लोढ़ा परिवार ने लिया.

वर्धमान जैन मंदिर में चल रहे आत्मकल्याण वर्षावास 2024 की प्रवचन श्रृंखला में बुधवार को परम पूज्य श्रमणतिलक विजय जी ने 63 शलाका ग्रंथ पर आधारित भगवान महावीर स्वामी जी के जीवन का सार बताते हुए कहा कि चातुर्मास के दौरान हम जीवन जीने और मोक्ष को प्राप्त करने की शिक्षा लेते हैं। इन चार महीना में हमें अपने जीवन को धन्य कर लेना है,

श्री मेघराज बेगानी धार्मिक एवं परमार्थिक ट्रस्ट के अध्यक्ष श्री धर्मराज बेगानी और आत्मकल्याण वर्षावास समिति के अध्यक्ष अजय कानूगा ने बताया कि न्यू राजेंद्र नगर स्थित वर्धमान जैन मंदिर में आत्मकल्याण वर्षावास 2024 के अंतर्गत चल रहे प्रवचन श्रृंखला में भगवान महावीर के जीवन को सूक्ष्मता से जानने का अवसर मिल रहा है। प्रतिदिन सुबह 9ः00 से 10ः00 बजे मंदिर में मुनिश्री की प्रवचनमाला जारी है। आप सभी इसका अधिक से अधिक लाभ ले और अपने जीवन को सफल बनाएं।
