सिमरा नेपाल(अमर छत्तीसगढ) 2 दिसम्बर। युगप्रधान, महातपस्वी आचार्य श्री महाश्रमण जी के सुशिष्य मुनिश्री रमेश कुमार जी सहयोगी मुनि रत्न कुमार जी ने आज लगभग 13.5 किलोमीटर का विहार करके सिमरा स्थित हुलास इन्डस्ट्रीज लिमिटेड में पधारे। दोनों संतों के सुखसाता है। फैक्ट्री की ओर से सुनील जी महनोत ने संतों का और काठमाण्डौ, बीरगंज आदि से समागत सभी भाई बहनों का भावभरा स्वागत किया।
नेपाल का प्रतिष्ठित औधोगिक गोलछा परिवार जैन श्वेताम्बर तेरापंथ समाज का प्रतिष्ठित परिवार है। स्व. श्री रामलाल गोलछा व उनके दोनों यशस्वी सुपुत्र स्व.हुलास चन्द और हंसराज ने भी तेरापंथ धर्म संघ को उल्लेखनीय सेवायें समर्पित की है। स्व. हंसराज के सुपुत्र स्व.दिवाकर गोलछा भी प्रतिष्ठित व्यक्तित्व के घनी थे। उनके दोनों पुत्र हितेश, हिमांशु गोलछा भी प्रबुद्ध और संस्कारी है।
आज नेपाल के त्रिभुवन राजमार्ग ( हाईवे रोड) पर विहार करते हुए मुनि द्वय आज की निर्धारित मंजिल की ओर चल रहे थे। इसी हाईवे रोड पर नेपाल ऑयल निगम का विशाल परिसर आया। यहां पर भारत के मोतीहारी से पाइप लाइन से पेट्रोल डीजल आदि नेपाल आता है। भारत सरकार ने यह पाइप लाइन बनाके नेपाल ऑयल निगम को प्रदान किया। यहां सेभारत नेपाल के सहयोग से विभिन्न क्षेत्रों में ऑयल भेजा जाता है।
मुख्य राजमार्ग पर संत जैसे जैसे आगे बढ़ रहे थे तब संतों को बताया गया कि यहां पर नेपाल का “पर्सा नेशनल पार्क” है। पर्सा नेशनल पार्क के मुख्य द्वार आकर्षक बना हुआ है।
अंदर के कुछ भू-भाग को देखने के लिए संतों से निवेदन किया गया। मुनि द्वय ने अंदर पधार कर इस पार्क का अवलोकन किया।
पर्सा नेशनल पार्क के चीफ वार्डन श्री रामचन्द्र खतिवाडा ने संतों का भावभरा स्वागत किया। आपने अपने गेस्टहाउस में पधारने का निवेदन भी किया। मुनि रमेश कुमार जी वहां पधार कर संक्षिप्त उद्बोधन भी दिया।
पर्सा नेशनल पार्क के चीफ रामचंद्र खतिवाडा ने इस नेशनल पार्क की जानकारी देते हुए बताया कि नेपाल के चितवन, मकवानपुर और परसा जिले देश के एक ही हिस्से हैं। यह राष्ट्रीय निकुंज लगभग एक हजार वर्ग किलोमीटर के विस्तृत क्षेत्र में फैला हुआ है। अगलो चुरे पर्वत, सबजसो की भूमि आच्छादित है। भावर प्रदेश की भौगोलिक स्थिति नैसर्गिक है।
इस नेशनल पार्क का तीस प्रतिशत भू-भाग सामुदायिक जंगल है और सत्तर प्रतिशत भू-भाग में राष्ट्रीय निकुंज है।
इस क्षेत्र को, जिसे वेनिथो और प्रसिद्ध चारकोशे झाड़ी क्षेत्र के नाम से जाना जाता है। यहां के मुख्य जानवर जंगली हट्टी, पटेबाग, चीता, जरायो, घोरगढ़ा, बंदेल, गौरीगई आदि हैं। पर्सा राष्ट्रीय निकुंज का लक्ष्य पुराने चारकोशे जंगल का प्रतिनिधित्व करना और जंगलों और वन्य जीवन को संरक्षित करना है।
जैन श्वेताम्बर तेरापंथी सभा काठमाण्डौ के अध्यक्ष सुभागमल जम्मड, नेपाल स्तरीय तेरापंथ सभा के अध्यक्ष दिनेश कुमार नौलखा, नवरंग- सुमन नाहटा, ललित गोलछा आदि ने जैन ध्वज को हस्तांतरित करते हुए जैन श्वेताम्बर तेरापंथी सभा बीरगंज के अध्यक्ष दिलिप कोठारी,उपाध्यक्ष सुनील महनोत वरिष्ठ श्रावक बंशीलाल बोथरा, राजकुमार बैद के अतिरिक्त अनेक श्रावकों व तेरापंथ महिला मंडल बीरगंज, तेरापंथ युवक परिषद बीरगंज की उपस्थित में दिया।
तेरापंथ सभा काठमाण्डौ के अध्यक्ष सुभागमल जम्मड के नेतृत्व में पर्सा नेशनल पार्क व गेस्टहाउस दोनों जगह रुद्राक्ष व आंवला के वृक्ष लगाये। स्मरण रहे वृक्षारोपण का यह उपक्रम जनकपुर से काठमाण्डौ यात्रा में भी किया गया और इस यात्रा में भी निरंतर चल रहा है।
आज के विहार में काठमाण्डौ, बीरगंज के श्रावक युवकों ने पैदल सेवा का लाभ लिया।
श्री जैन श्वेताम्बर तेरापंथी सभा काठमाण्डौ-नेपाल