जगदलपुर(अमर छत्तीसगढ) 1 फरवरी। छत्तीसगढ़ के बस्तर में नक्सलियों को लगातार मिल रही नाकामयाबी व मुठभेड़ में मारे जा रहे इनामी नक्सलियों की बढ़ती संख्या को देखते हुए नक्सल संगठन द्वारा सेंट्रल कमेटी में बदलाव किए जाने की खबर है।
कुछ माह पूर्व नक्सलियों की मिलिट्री बटालियन नम्बर एक के चीफ माड़वी हिड़मा को सेंट्रल कमेटी में शामिल किए जाने की खबर के बीच वर्तमान में हिड़मा की जगह सेट्रल कमेटी में झारखण्ड के खूंखार नक्सली 1 करोड़ के इनामी पतिराम माझी को शामिल किए जाने की खबर है।
उल्लेखनीय है कि, पिछले 13 माह में बस्तर संभाग के अलग अलग जिलों में सुरक्षाबलों ने सवा 2 सौ से अधिक करोड़ों रुपए के इनामी नक्सलियों को मार गिराया है। सुरक्षाबलों द्वारा लगातार नक्सलियों के कोर इलाके में घुसकर आपरेशन चलाया जा रहा है और नक्सलियों को उनके आधार इलाकों से खदेड़ा जा रहा है। फोर्स को लगातार मिल रही सफलताओं से बस्तर में नक्सलवाद की जड़ें कमजोर होने लगी हैं। जिसे देखते हुए सेंट्रल कमेटी में बदलाव की खबर है।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने नक्सल मुक्त भारत के लिए मार्च 2026 की समय सीमा तय की है। इस समय सीमा के हिसाब से सुरक्षाबल अपने काम को अंजाम भी दे रहे हैं। सुरक्षाबलों द्वारा लगातार छोटे-बड़े कैडर के नक्सलियों को मुठभेड़ में मार गिराया जा रहा है। इसे देखते हुए सेंट्रल कमेटी का नए सिरे से गठन किए जाने की खबर है।
फैलाई जा रही झूठी खबर
बस्तर में वर्तमान में जिस तरह पुलिस व सुरक्षा बलों द्वारा अपनी जान की परवाह न करते हुये पूर्ण समर्पित भाव से नक्सलियों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है और उन्हें सफलता भी मिल रही है। माओवादी संगठन द्वारा क्षेत्र की जनता को दिक्भम्रित करने कई प्रयोग किये जा रहे हैं बावजूद सभी हथकंडे नाकाम साबित हो रहा है।
केन्द्रीय गृहमंत्री के ऐलान के बाद जल्द ही बस्तर नक्सल आतंक से मुक्त होगा। लगातार मिल रही असफलता के बीच माओवादी संगठन द्वारा हाल ही में अपने कैडर का मनोबल को बढ़ाने की असफल प्रयास करते हुए पुजारी कांकेर-तुमरेल में 6 पुलिस जवानों के शहीद होने का झूर्वी खबर जारी किया गया था, जबकि इस मुठभेड़ में सुरक्षा बलों के किसी भी जवान की शहादत नहीं हुई थी।