बिलासपुर(अमर छत्तीसगढ) 7 जून।
चेतना के साथ-साथ बिलासपुर पुलिस का गुंडे बदमाशों पर प्रहार लगातार जारी
आरोपियों के विरुद्ध 10 साल तक की सजा वाले लूट की गंभीर धारा 394 के तहत कार्यवाही
सभी आरोपी लूटपाट की दो घटनाओं में थे शामिल
आरोपीयों से घटना मे प्रयुक्त ब्लेड, चाकू, एक मोटर सायकल, 03 नग मोबाइल, एवं नगदी 5650 रूपये जप्त
नाम आरोपी-
(1) अबि यादव पिता बलदेव यादव उम्र 19 वर्ष निवासी सांई मंदिर कोनी थाना कोनी जिला बिलासपुर (छ.ग.)
(2) मोना उर्फ रजत केंवट पिता परदेशी केंवट उम्र 19 वर्ष निवासी मौहारपारा निरतू थाना कोनी जिला बिलासपुर (छ.ग.)
(3) ओमप्रकाश पटेल पिता पुना राम पटेल उम्र 19 वर्ष निवासी मौहारपारा निरतू थाना कोनी जिला बिलासपुर (छ.ग.)
विवरण- मामले का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है प्रार्थी देशराज कुजूर अपने अन्य साथी संजय साहू, अखिलेश कोशले एवम नारायण साहू के साथ दिनांक 06.06.2024 के थाना उपस्थ्ति आकर रिपोर्ट दर्ज कराया कि दिनांक 06.06.2024 के रात्रि करीब 00.30 बजे रायपुर से कोयला खाली करके वापस कोरबा जा रहे थे कि तुर्काडीह ढाबा के पास टार्च की इशारा कर प्रार्थी एवम अन्य आह्तों को बुलाकर आरोपीगण बेल्ट एवं हाथ मुक्का से मारपीट करते एवं चाकू अडाकर ड्राइवर एवम आहत के पास रखे नगदी रकम एवं कीपेड तथा स्मार्ट मोबाइल लूटपाट किये है,
इस पर तत्काल थाना कोनी मे अपराध पंजीबद्ध कर मामले की विवेचना एवम आरोपी पातासाजी प्रारंभ किया गया बताए हुलिया एवम घटना स्थल पर बरामद मोटर साईकिल के नंबर से आरोपीगण की पहचान कर आरोपीगण को हिरासत मे लेकर पूछताछ किया गया, जो घटना कारित करना स्वीकार किया तथा लूटे गये समान मोना केंवट से 1000 रूपये नगदी, ओमप्रकाश पटेल से की-पेड मोबाइल कीमती 3200 रूपये, अबि यादव से 1450 रूपये नगदी एवं 2 स्मार्ट मोबाइल कीमती 35000 रूपये एवं एक मो0सा0 एच एफ डीलक्स कीमती 70000 रूपये को पेश किया जिसे जप्त किया गया है ।
विदित हो कि उक्त आरोपीगण दिनांक 03.05.2024 को गतोरी ओवर ब्रिज में मोटरसाइकिल में जाकर ट्रक को रुकवाकर ड्राईवर से मारपीट कर लूट का प्रयास किए थे जिसका थाना कोनी में अपराध पंजीबद्ध किया गया था उक्त मामले का भी खुलासा पूछताछ के दौरान आरोपियों ने किया ।
थाना प्रभारी गोपाल सतपथी, सउनि भरतलाल राठौर, प्र आर अरविंद सिह, आरक्षक महादेव कुजूर, राकेश साहू, सूरज कुर्रे, शैलेन्द्र साहू, प्रकाश तिवारी, अंकित कुमार, रमेश टंडन, चन्द्रशेखर मरकाम ,समारू लकडा का सराहनीय योगदान रहा ।