राजनांदगांव(अमर छत्तीसगढ)- प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय राजनांदगांव द्वारा बल्देवबाग स्थित भारत तिब्बत बॉर्डर पुलिस के जवान भाइयों के लिए ” तनावमुक्त जीवन का आधार सकारात्मक विचार” विषय पर आज कार्यशाला का आयोजन किया गया ।
इस अवसर पर मुख्य वक्ता के रूप में ब्रह्माकुमारीज राजनांदगांव की वरिष्ठ राजयोग शिक्षिका ब्रह्माकुमारी प्रभा बहन जी उपस्थित थी । आपने जवान भाइयों को संबोधित करते हुए कहा कि तनावमुक्त जीवन जीने के लिए सर्वप्रथम हमें अपने विचारों की गुणवत्ता को चेक करना चाहिए ।
मनुष्य के मन में मुख्यतः चार प्रकार के विचार उत्पन्न होते है- सकारात्मक विचार नकारात्मक विचार, आवश्यक विचार और व्यर्थ विचार। व्यर्थ और नकारात्मक विचार से हमारे मन में तनाव पैदा होता है वहीं सकारात्मक विचार तनाव को दूर करते है ।
इसलिए हमें सदैव सकारात्मक विचार ही करने चाहिए । हमें सबके प्रति शुभ सोचना चाहिए और सबको क्षमा करते हुए सबसे क्षमा मांगनी चाहिए इससे हम तनाव से सदा मुक्त रहेंगे परंतु इसके लिए मन का शक्तिशाली होना जरूरी है और मन शक्तिशाली होगा राजयोग के निरंतर अभ्यास से ।
राजयोग का निरंतर अभ्यास हमारे मन को शक्ति प्रदान करता है तथा आने वाली समस्याओं से बचाता है । प्रभा बहन जी ने उपस्थित सभी जवान भाइयों को मन की शांति के लिए राजयोग की गहन अनुभूति भी कराई ।
इसके पूर्व ब्रह्माकुमार झालम भाई ने तनाव आने के कारणों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि किसी भी परिस्थिति के प्रति हमारा नकारात्मक दृष्टिकोण से समस्या पैदा होती है और तनाव होता है ।
जैसे कि पानी में गिरने से कोई नहीं मरता बल्कि तैरने नहीं आने के कारण मृत्यु होती है ठीक उसी प्रकार कोई परिस्थिति तब तनावपूर्ण बन जाती है जब उस परिस्थितिसे निकलने की कला नहीं आती । यदि हमें सदा तनावमुक्त रहना है हमे अपना नजरिया परिस्थितियों के प्रति बदलनी पड़ेगी ।
तनाव से मुक्त रहने के लिए हम सदा यही सोचे कि मेरे साथ जो भी हो रहा है अच्छा हो रहा है , सदा वर्तमान में ही जीए , अपनी तुलना कभी किसी से न करे इत्यादि । ITBP के सहायक सेनानी व तनावमुक्त परामर्शदाता विजय कुमार ने ब्रह्माकुमारीज से आए हुए अतिथियों का स्वागत किया तथा कहा कि आज के इस चुनौतीपूर्ण वातावरण में सभी जवान भाइयों को तनावमुक्त रहते हुए ड्यूटी करना बहुत जरूरी है इसके लिए सबको प्रतिदिन राजयोग का अभ्यास जरूर करना चाहिए ।
इस अवसर पर ब्रह्माकुमारी लोकिता बहन जी , श्री मुरुगन एवं 50 जवान भाई उपस्थित थे ।